हरियाणा पुलिस ने गुरुग्राम जिले में सरकार द्वारा ’अधिग्रहित’ की हुई 2 एकड जमीन फर्जी तरीके से एक निजी कंपनी को बेचकर सरकारी खजाने को करोड़ों रुपये का नुकसान पहुंचाने वालों को पर्दाफाश करते हुए दो अधिवक्ताओं सहित तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। डीजीपी हरियाणा, श्री मनोज यादव ने आज यहां खुलासा करते हुए बताया कि इस्लामपुर गांव की 2 एकड़ भूमि, जो 1993 में हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण द्वारा अधिग्रहित की गई थी, को जालसाजों ने फर्जी व जाली दस्तावेजों और गवाहों के आधार पर एक निजी कंपनी को दो करोड़ रुपये में बेच दिया था।
जल्दी रुपये बनाने के चक्कर में गिरफतार मास्टरमाइंड गाँव झाड़सा निवासी रोहित ठाकरान और गाँव इस्लामपुर के अजय चैधरी ने मिलीभगत करके मूर्ति देवी, लक्ष्मी देवी और बाला देवी के नाम पर अन्य औरतें खडी करके उनकी 2 एकड़ पैतृक संपत्ति फर्जी गवाहों को दिखाकर अजय के नाम पर हस्तांतरित करवा दी। इस मामले में सम्पति की असली मालिकों की पहचान करने वाले गवाह चमन लाल अरोड़ा एडवोकेट और सुभाष चंद अरोड़ा एडवोकेट को भी गिरफ्तार किया जा चुका है।
जांच में खुलासा हुआ कि मास्टरमाइंड रोहित ठाकरान ने निजी तौर पर पटवारी का काम सीखा था और वह अधिग्रहित जमीन के बारे में पूरी तरह से वाकिफ था। रोहित के खाते में अजय चैधरी द्वारा 2 करोड़ में से 29 लाख रूपये ट्रांसफर करने पाए गए हैं। अजय चैधरी ने जिन खातों में पैसे प्राप्त किए हैं उनमें अजय चैधरी द्वारा बैंक में खाता खुलवाते समय अलग-अलग नम्बर के पेन कार्ड प्रयोग करने पाए गए हैं। आरोपी रोहित ठाकरान लड़ाई-झगड़े, शराब तस्करी के मामलों में लिप्त रहा है और उसका सहयोगी आरोपी अजय चैधरी वर्ष 2006 में राजस्थान पुलिस के कांस्टेबल को गोली मारकर हत्या करने में शामिल रहा है। आगे की जांच की जा रही है तथा अन्य आरोपियों को शीघ्र गिरफतार किया जाएगा।