जम्मू-कश्मीर के शोपियां में आतंकियों से मुठभेड़ के वक्त मेरठ के लाल अनिल तोमर शहीद हो गए। अनिल तोमर के शहादत की खबर जैसे ही घर वालों को मिली तो घर में मातम छा गया। शहीद के घर के सामने लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा। अनिल तोमर की शहादत पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। साथ ही सीएम ने शहीद के परिजनों को 50 लाख रुपए की आर्थिक सहायता प्रदान करने की घोषणा की है।

जवान अनिल कुमार तोमर मेरठ के मुण्डली गांव सिसौली के निवासी है। अनिल तोमर के पिता भोपाल तोमर ने जानकारी देते हुए बताया कि दो दिन पहले शोपियां में आतंकियों से मुठभेड़ में वो घायल हो गए थे। अनिल को पांच गोलियां लगीं थी। इलाज के लिए उन्‍हें श्रीनगर के अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां 28 दिसंबर को इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। आज 29 दिसंबर को उनका पार्थिक शरीर शाम तक गांव में पहुंचने की संभावना है, जहां उनका राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा। जवान की मौत से पूरा गांव शोक में डूबा है। अनिल तोमर वर्ष 2000 में आर्मी में भर्ती हुए थे। फिलहाल वह 44वीं राष्ट्रीय राइफल्स में हवलदार के पद पर तैनात थे। अनिल तोमर की मूल यूनिट 23 राजपूत थी और अभी 44 वीं राष्ट्रीय राइफल्स में तैनाती के दौरान अनिल तोमर कमान अधिकारी की क्यूआरटी के कमांडर के तौर पर कार्यरत थे।

सोमवार दोपहर करीब डेढ़ बजे बटालियन के अधिकारियों ने सुनील को फोन कर हवलदार अनिल तोमर के शहीद होने की खबर दी। इससे पूरा गांव शोकाकुल हो गया। अनिल के भाई अजय तोमर ने बताया कि सुनील तोमर श्रीनगर पहुंच गए हैं। विशेष विमान से शहीद का पार्थिव शरीर देर रात तक दिल्ली पहुंचने की उम्मीद है। सड़क मार्ग से मंगलवार दोपहर तक पार्थिव शरीर गांव लाया जाएगा।

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